राज्य एवं जिला स्तर पर अधिकारियों/कर्मचारियों की स्थानांतरण नीति वर्ष 2022

मध्य प्रदेश शासन स्कूल शिक्षा विभाग मंत्रालय, वल्लभ भवन, भोपाल के पत्र कमांक एफ 01-09 / 2022 /20-1 दिनांक 8/9/2022 को राज्य एवं जिला स्तर पर अधिकारियों/कर्मचारियों की स्थानांतरण नीति वर्ष 2022 प्रदेश में राज्य संभाग एवं जिला स्तर पर विभागीय अधिकारियों / कर्मचारियों के लिये निम्नानुसार स्थानांतरण नीति निर्धारित की जाती है:

भूमिका एवं उद्देश्य

शिक्षा विभाग की विशिष्ट परिस्थितियों से जनित आवश्यकताओं के दृष्टिगत यह विभागीय नवीन स्थानांतरण नीति तैयार की गई है। शिक्षण सत्र प्रतिवर्ष एक निश्चित समय पर प्रारंभ होता है, अतः इस नीति का प्रमुख उदेश्य शिक्षण सत्र प्रारंभ होने से पूर्व विद्यालयों में शिक्षकों की युक्तियुक्त उपलब्धता सुनिश्चित करना है। सामान्य प्रशासन विभाग द्वारा प्रतिवर्ष जारी होने वाली स्थानांतरण नीति से इस नीति को पृथक रखा गया है क्योंकि शिक्षण सत्र के दौरान स्थानांतरण प्रक्रिया संचालित होने से विद्यालयों में पठन-पाठन की अपूर्णीय क्षति होती है। इस नीति के तहत शिक्षकों के स्थानांतरण प्रत्येक वर्ष ग्रीष्मकालीन अवकाश की अवधि के पूर्व निश्चित कालखण्ड में किये जायेंगे ताकि सत्र प्रारंभ होने पर पठन-पाठन सुचारू ढंग से संपादित हो सकें। इस नीति का अन्य प्रमुख उदेश्य राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के परिपालन में पारदर्शी प्रक्रिया के माध्यम से विद्यालयों की आवश्यकता के आधार पर समानता पूर्ण ढंग से शिक्षकों के स्थानांतरण का प्रयोजन करना है।

स्थानांतरण नीति के विशेष उपबंध प्रमुख

1. इस स्थानांतरण नीति के प्रभावी होने के उपरांत आगामी वर्षों में वर्ष विशेष के लिए पृथक स्थानान्तरण नीति जारी नहीं की जाएगी। यद्यपि आवश्यक होने पर अधिसूचना के माध्यम से वर्तमान नीति में आवश्यक संशोधन/परिवर्धन किया जा सकेगा।

2. नवीन उन्नयन किए जाने वाले विद्यालय अथवा संकाय वृद्धि संबंधी स्वीकृति प्रत्येक वर्ष 31 दिसम्बर के पूर्व जारी की जाएगी। स्वीकृत नवीन पदों को स्थानांतरण प्रक्रिया में सम्मिलित किया जाएगा।

3. प्रत्येक लोकसेवक द्वारा यह सुनिश्चित किया जाएगा कि संबंधित की एजुकेशन पोर्टल में दर्ज व्यक्तिगत एवं पदस्थापना संबंधी जानकारी सही है। अन्यथा स्थिति में संबंधित लोकसेवक द्वारा उक्त जानकारी में सुधार बावत समुचित अभ्यावेदन मय आवश्यक अभिलेख, नियत समय सीमा में, उनके संकुल प्राचार्य / कार्यालय प्रमुख को प्रस्तुत करना होगा। संकुल प्राचार्य / कार्यालय प्रमुख द्वारा अभ्यावेदन का परीक्षण कर सक्षम स्तर से आवश्यकतानुसार स्वीकृति प्राप्त कर एजुकेशन पोर्टल पर जानकारी अद्यतन की जाएगी। त्रुटिपूर्ण जानकारी के आधार पर स्थानान्तरण प्रक्रिया में विसंगति पैदा होने पर प्रकरण की जांच की जाकर जवाबदेह लोकसेवक/संकुल प्राचार्य/अधिकारी के विरुद्ध अनुशासनात्मक कार्यवाही की जाएगी।

4. स्थानान्तरण हेतु वास्तविक एवं प्रत्याशित रिक्तियां की गणना प्रत्येक वर्ष दिनांक 30 अप्रैल की रहे पदों इत्यादि को सम्मिलित किया जायेगा।

5. शिक्षक सहित समस्त संवर्गों के लिए स्थानांतरण प्रक्रिया प्रतिवर्ष 15 मई तक की समयावधि में पूर्ण की जाएगी, समय सारिणी निम्रानुसार होगी:

क्र. विवरण समय सीमा

दायित्व

1 नवीन विद्यालय प्रारंभ करना / संकाय वृद्धि / पदों का युक्तियुक्तकरण इत्यादि के फलस्वरूप सेटअप में संशोधन 31 दिसम्बर तक आयुक्त, लोक शिक्षण
2 एजुकेशन पोर्टल पर प्रत्येक लोक सेवक की व्यक्तिगत व पदस्थापना संबंधी जानकारी अघतन कराने संबंधित प्रक्रिया को पूर्ण करना 15 जनवरी तक समस्त कार्यालय प्रमुख / संकुल प्राचार्य/आहरण संवितरण अधिकारी/जिला शिक्षा अधिकारी / संभागीय संयुक्त संचालक/ आयुक्त लोक शिक्षण
3 वास्तविक एवं प्रत्याशित रिक्तियों का निर्धारण

31 जनवरी तक

जिला शिक्षा अधिकारी / संभागीय संयुक्त संचालक/ आयुक्त, लोक शिक्षण आयुक्त, लोक शिक्षण

4 रिक्त पदों को एजूकेशन पोर्टल पर प्रदर्शित कराना 01 मार्च तक आयुक्त, लोक शिक्षण
5 पोर्टल पर ऑनलाइन आवेदन प्राप्त करने की कार्यवाही 31 मार्च तक आयुक्त, लोक शिक्षण
6 ऑनलाइन स्थानान्तरण आदेश जनरेट करना 30 अप्रैल तक

आयुक्त लोक शिक्षण

7

भारमुक्ति / कार्यभार ग्रहण करने संबंधी कार्यवाही पूर्ण करना

15 मई तक समस्त कार्यालय प्रमुख/संकुल प्राचार्य/आहरण संवितरण अधिकारी/ जिला शिक्षा अधिकारी / संभागीय संयुक्त संचालक

6. प्रशासनिक आधार पर स्थानान्तरण प्राथमिकता पर किये जायेंगे। इसके पश्चात रिक्तियों की उपलब्धता के आधार पर स्वैच्छिक स्थानांतरण किए जायेंगे।

7. स्वैच्छिक स्थानांतरण हेतु शिथिलता की अवधि में पोर्टल के माध्यम से ऑनलाइन आवेदन करना अनिवार्य होगा। शेष अवधि के दौरान किसी भी मोड में स्वैच्छिक स्थानांतरण हेतु कोई आवेदन स्वीकार नही होगा।

8. समस्त स्वैच्छिक एवं प्रशासनिक स्थानांतरण आदेश एजुकेशन पोर्टल के माध्यम से निर्धारित प्रारूप में ऑनलाइन जारी किए जाएंगे एवं एम-शिक्षामित्र मोबाइल एप पर संबंधितों को उपलब्ध होंगे।

9. जिला अथवा संभाग के शिक्षक संवर्ग के पदोन्नति के पदों पर अन्य जिला अथवा संभाग संवर्ग के शिक्षकों को स्थानान्तरित कर पदस्थ नहीं किया जाएगा। किन्तु जिला/संभाग संवर्ग के अंतर्गत पदोन्नती पदों पर स्थानांतरण हेतु कोई बंधन नहीं होगा।

10. जिला अथवा संभाग अंतर्गत, अन्य जिला अथवा संभाग से स्थानांतरण द्वारा पदस्थापना उस जिला अथवा संभाग में शिक्षक संवर्ग के कुल स्वीकृत पदों की संख्या की सीमा तक ही की जा सकेगी। ऐसे स्थानांतरण का आधार जिला अथवा संभाग की संस्था विशेष में रिक्त पद को नही बनाया जाऐगा।

11. प्राथमिक/माध्यमिक विद्यालयों हेतु निःशुल्क एवं अनिवार्य बाल शिक्षा का अधिकार अधिनियम 2009 एवं नियम 2011 के तहत जारी संरचना, हाई स्कूल/हायर सेकण्ड्री स्कूल के लिए विभागीय आदेश दिनांक 11.03.2013 द्वारा जारी पद संरचना तथा एकीकृत शाला हेतु जारी पद संरचना के आधार पर संस्थावार सेटअप निर्धारित कर प्रकाशित/जारी किया जाएगा। प्रतिवर्ष सेटअप की समीक्षा की जाएगी एवं आवश्यक होने पर शैक्षणिक संस्थाओं/कार्यालयों के सेटअप में परिवर्तन किया जा सकेगा।

12. संस्था विशेष हेतु संख्या व विषयमान से, जैसी भी स्थिति हो, निर्धारित सेटअप से अधिक कार्यरत शिक्षकों को अतिशेष श्रेणी में चिन्हित किया जायेगा। अतिशेष शिक्षकों के लिए इस नीति की कंडिका 3.2 अनुसार समरूप पदों पर शिक्षकों की कमी वाली संस्थाओं में पदस्थापना की जाएगी।

13. विभागीय कार्यालयों में निर्धारित सेटअप से अधिक पदस्थ अतिशेष लोक सेवकों को अन्य संस्थाओं में रिक्त समरूप पदों पर स्थानांतरित कर पदस्थ किया जायेगा।

14 नवीन भर्ती द्वारा नियुक्त किये जाने वाले विभिन्न संवर्गों के शिक्षकों को समान्यतः ग्रामीण क्षेत्रों में स्थित विद्यालयों में पदस्थ किया जायेगा। उस विद्यालय में उन्हें न्यूनतम 3 वर्ष की कालावधि अथवा परिवीक्षा अवधि, जो भी अधिक हो, तक कार्य करना होगा। ऐसे शिक्षकों को सम्पूर्ण सेवा अवधि में न्यूनतम 10 वर्ष ग्रामीण क्षेत्र में कार्य करना होगा। नव नियुक्ति शिक्षकों को सेवा में उपस्थिति से पूर्व तत्संबंधी वचन पत्र प्रस्तुत करना होगा। विशेष विद्यालयों में चयन परीक्षा से चयनित शिक्षकों के लिए इस हेतु शिथिलता दी जाएगी।

15. 10 वर्ष या इससे अधिक अवधि से एक ही संस्था, विशेषकर शहरी क्षेत्रों में पदस्थ शिक्षकों को ग्रामीण क्षेत्रों की शिक्षक विहीन अथवा शिक्षकों की कमी वाली शालाओं में स्थानांतरित कर पदस्थ किया जाएगा। ऐसे शिक्षक स्वैच्छिक स्थानांतरण प्रक्रिया में भाग ले सकेगे। इस मापदण्ड अंतर्गत आने वाले शिक्षकों की कुल संख्या के न्यूनतम 10 प्रतिशत शिक्षकों को भर्ती वर्ष के क्रमानुसार वरिष्ठता के आधार पर ग्रामीण क्षेत्रों में स्थानांतरित किया जाएगा। ऐसे शिक्षकों को अधिकतम 10 वर्ष तक ग्रामीण क्षेत्रों में कार्य करना होगा।

16. कंडिका 15 के अनुक्रम में शहरी क्षेत्रों में पदस्थ शिक्षकों के साथ-साथ अध्यापक सर्वर्ग के ऐसे शिक्षक जिनकी प्रथम नियुक्ति नगरीय निकाय में शिक्षाकर्मी/संविदा शिक्षक के रूप में हुई थी एवं वे वर्तमान में नवीन सर्वर्ग में नियुक्ति होकर नगरीय क्षेत्र में लगातार कार्य कर रहे है उन्हें ग्रामीण क्षेत्रों में निम्नलिखित अवधि अनुसार पदस्थ किया जाएगा:

i वर्ष 2001 तक नियुक्त शिक्षाकर्मी/संविदा शिक्षक – 05 वर्ष

ii वर्ष 2008 तक नियुक्त संविदा शिक्षक – 07 वर्ष

iii. वर्ष 2013 तक नियुक्त संविदा शिक्षक – 10 वर्ष

iv. वर्ष 2018 के पश्चात नियुक्त शिक्षक – 10 वर्ष

17 कंडिका 15 एवं 16 के परिप्रेक्ष्य में ऐसे शिक्षक जिनकी सेवानिवृत्ति में 03 वर्ष शेष है एवं अथवा गंभीर बीमारी / विकलांगता से पीडित है उन्हें इस प्रक्रिया से मुक्त रखा जाएगा। इन कंडिकाओं के तहत कार्यवाही के संबंध में आवश्यक मैट्रिक्स / अधिभार निर्धारण आयुक्त, लोक शिक्षण द्वारा नियत किया जाएगा।

18 दूरस्थ ग्रामीण क्षेत्रों अथवा आदिवासी बाहुल्य क्षेत्रों में प्रशासकीय रूप से पदस्थ किए गए शिक्षकों को प्रोत्साहन भत्ते के रूप में एक निश्चित राशि प्रदान की जाएगी जैसा कि निर्धारित किया जाए। इस नीति के प्रकाशन के 03 माह की अवधि में ऐसे क्षेत्रों के विद्यालयों का चिन्हांकन आयुक्त, लोक शिक्षण द्वारा किया जाएगा।

19 आयुक्त, लोक शिक्षण के तहत विभिन्न संवर्ग के शिक्षकों, प्राचार्यों तथा अधिकारियों को विभागांतर्गत अन्य कार्यालयों/मंडलों जैसे राज्य शिक्षा केंद्र, माध्यमिक शिक्षा मंडल, पाठ्यपुस्तक निगम, ओपन बोर्ड, महर्षि पंतजलि संस्कृत संस्थान इत्यादि में किसी पद विशेष पर स्थानांतरण द्वारा पदस्थ किया जा सकेगा। ऐसी पदस्थापना संबंधित कार्यालय की मांग, शर्तों एवं नियत प्रक्रिया अनुसार निश्चित अवधि हेतु की जाएगी। संबंधित को वेतन भत्ते आदि का भुगतान उस विभागाध्यक्ष / कार्यालय द्वारा किया जायेगा जिसमे संबंधित शिक्षक / प्राचार्य को पदस्थ किया गया है। अन्य विभागाध्यक्ष / मण्डलों में स्थानांतरण के कारण हुई कमी की प्रतिपूर्ति हेतु पदस्थ किए गए शासकीय सेवकों की संख्या के मान से ऐसे पदों को आयुक्त, लोक शिक्षण के अधीन समान संवर्गीय पदों में जोड़ा जाएगा।

20 शिक्षा विभाग से अन्य विभाग में प्रतिनियुक्ति पर पदस्थापना सामान्य प्रशासन विभाग द्वारा निहित प्रावधानों के तहत अपरिहार्य परिस्थितियों में ही की जाएगी। इस हेतु आयुक्त, लोक शिक्षण अधिकृत होंगे। प्रतिवर्ष शिक्षा विभाग से अन्य विभागों में प्रतिनियुक्ति पर पदस्थ लोकसेवकों के संबंध में आयुक्त, लोक शिक्षण द्वारा समीक्षा की जाएगी तथा विभागीय आवश्यकता अनुसार ऐसे लोकसेवकों को वापिस मूल विभाग में पदस्थ करने संबंधी निर्णय लिया जायेगा।

21 विभिन्न संवर्ग के शिक्षकों/प्राचार्यों को निर्वाचित जन प्रतिनिधियों की निजी पदस्थापना में पदस्थ नही किया जाएगा।

* स्थानांतरण प्रक्रिया

1. स्वैच्छिक स्थानांतरण

1.1 रिक्त पदों पर स्वैच्छिक स्थानांतरण ऑनलाइन किए जा सकेंगे किन्तु उपलब्ध मानवीय संसाधनों के युक्ततम उपयोग सुनिश्चित करने, उनका समानुपातिक रूप से वितरण करने एवं क्षेत्र विशेष में एकत्रीकरण रोकने के दृष्टिगत स्वैच्छिक स्थानान्तरण / पदोन्नति प्रक्रिया से पूर्व पद विशेष को अवरुद्ध (ब्लॉक) किया जा सकेगा।

1.2 स्थानांतरण हेतु प्राथमिकता का क्रम निम्न तालिका अनुसार होगा। अतिशेष शिक्षकों को प्रत्येक श्रेणी में वरीयता दी जाएगी –

वरीयता क्रम शिक्षक संवर्ग के महिला / पुरुष  स्थानांतरण में वरीयता क्रम का क्रमानुसार विवरण
1 महिला / पुरुष स्थानान्तरण सत्र से पहले सत्र की वार्षिक परीक्षा में कक्षा 10वीं की बोर्ड परीक्षा में शत प्रतिशत परीक्षा परिणाम लाने वाले विद्यालयों में पदस्थ प्राचार्य और समस्त शैक्षणिक अमला। (कक्षा 10वीं की परीक्षा में न्यूनतम 40 छात्रों का सम्मिलित होना अनिवार्य होगा)
2 महिला वर्ग

स्वयं अथवा परिवार के सदस्य गंभीर बीमारी से पीडित होने की स्थिति में।

3 पुरुष वर्ग स्वयं अथवा परिवार के सदस्य गंभीर बीमारी से पीडित होने की स्थिति में।
4 महिला / पुरुष

विवाह के कारण पत्नी/पति के निवास अथवा कार्यस्थान पर स्थानांतरण

5 महिला वर्ग

निःशक्त श्रेणीं

6 पुरुष वर्ग निःशक्त श्रेणीं
7

महिला / पुरुष वर्ग

विधवा अथवा परित्यक्ता/विधुर
8 महिला कोविड- 19 जनित जटिल स्थिति के कारण पदस्थापना स्थल से अन्य स्थल पर चिकित्सयीय आवश्यकता होने पर
9 पुरुष कोविड- 19 जनित जटिल स्थिति के कारण पदस्थापना स्थल से अन्य स्थल पर चिकित्सयीय आवश्यकता होने पर
10 महिला वर्ग राष्ट्रीय पुरस्कार प्राप्त शिक्षक
11 पुरुष वर्ग राष्ट्रीय पुरस्कार प्राप्त शिक्षक
12 महिला वर्ग राज्य पुरस्कार प्राप्त शिक्षक
13 पुरुष वर्ग राज्य पुरस्कार प्राप्त शिक्षक
14 महिला वर्ग एक से अधिक आवेदक होने पर अतिशेष शिक्षक को वरीयता दी जाएगी।
15 पुरुष वर्ग एक से अधिक आवेदक होने पर अतिशेष शिक्षक को वरीयता दी जाएगी।
16 महिला वर्ग एक से अधिक आवेदक होने पर वरिष्ठ शिक्षक (सम्पूर्ण सेवा अवधि के आधार पर) को वरीयता दी जाएगी।
17 पुरुष वर्ग एक से अधिक आवेदक होने पर वरिष्ठ शिक्षक (सम्पूर्ण सेवा अवधि के आधार पर) को वरीयता दी जाएगी।

1.3 स्वैच्छिक स्थानान्तरण हेतु संबंधित लोकसेवक द्वारा अपनी यूनिक id पासवर्ड के माध्यम से एजुकेशन पोर्टल पर लॉगइन कर ऑनलाइन आवेदन करना होगा। आवेदन का प्रिंट निकालकर उस पर हस्ताक्षर कर अपलोड करना अनिवार्य होगा। स्थानान्तरण आवेदन में दी गयी जानकारी की सत्यता संबंधी घोषणा करना अनिवार्य होगा।

1.4 पात्र आवेदकों को उपर्युक्त तालिका 3.1.2 में निर्धारित प्राथमिकता / वरीयता के आधार पर उनके द्वारा च्वाइस की गई संस्थाओं/ ब्लॉक के वरीयता क्रम में उपलब्धतानुसार रिक्त पद पर बगैर मानवीय हस्तक्षेप के स्थानांतरित किया जा सकेगा।

1.5 स्वैच्छिक रूप से पारस्परिक (आपसी) स्थानान्तरण भी ऑनलाइन हो सकेंगे इसके लिए समान पद और समान विषय होना अनिवार्य होगा।

1.6 उत्कृष्ट विद्यालयों, मॉडल विद्यालयों तथा सी.एम. राइज विद्यालयों (प्रथम चरण में चयनित 275 विद्यालयों) में शिक्षकों/प्राचार्यों की पदस्थापना एक निश्चित अवधि के लिए विभागीय प्रवेश परीक्षा के माध्यम से की जाएगी। इसमें नवनियुक्त शिक्षकों द्वारा भी भाग लिया जा सकेगा। ऐसे परिवीक्षाधीन चयनित शिक्षकों को सी. एम. राइज विद्यालयों में पदस्थापना के लिए शिथिलता प्रदान की जा सकेगी। इसी प्रकार उत्कृष्ट, मॉडल एवं सी. एम. राइज विद्यालयों में पदस्थ शैक्षणिक अमले का स्थानान्तरण अन्य विद्यालयों में किया जा सकेगा परन्तु इन विद्यालयों में स्वैच्छिक स्थानान्तरण के माध्यम से पदस्थापना नहीं की जाएगी।

1.7 प्राचार्य/सहायक संचालक एवं उक्त पद से वरिष्ठ पदों को छोड़कर शेष स्वैच्छिक स्थानांतरण एजुकेशन पोर्टल पर स्थापित ऑनलाइन प्रणाली के माध्यम से उपरोक्त कंडिका 3.1.2 अनुसार प्राथमिकता के क्रम में बिना मानवीय हस्तक्षेप के किये जायेंगे। स्थानांतरण आदेश आयुक्त लोक शिक्षण के डिजिटल हस्ताक्षर से जारी किए जाएंगे।

1.8 प्राचार्य / सहायक संचालक एवं उक्त से वरिष्ठ पदों पर कार्यरत अधिकारियों के स्वैच्छिक स्थानान्तरण आवेदन नियत अवधि में ऑनलाइन स्वीकार्य होंगे। आवेदनों का निराकरण आवश्यकतानुसार ऑनलाइन अथवा ऑफलाइन मोड में किया जा सकेगा।

1.9 भारमुक्ति और पदभार ग्रहण संबंधी कार्यवाही ऑनलाइन की जाएगी। यदि आवेदक द्वारा स्थानांतरण प्रक्रिया में वरीयता (गंभीर बीमारी, निःशक्ता इत्यादि) प्राप्त की गई है ऐसी स्थिति में संबंधित की भारमुक्ति से पूर्व प्राप्त वरीयता के संबंध में प्रमाण पत्र आदि का सत्यापन संबंधित संकुल प्राचार्य द्वारा किया जाएगा तथा यह भी सुनिश्चित किया जाएगा कि संबंधित द्वारा समस्त प्रभार का विधिवत हस्तांतरण कर दिया गया है।

1.10 ऑनलाइन स्थानांतरण जिस प्राथमिकता / वरीयता के आधार पर किया गया है उसके संबंध में यदि यह पाया जाता है कि संबंधित आवेदक द्वारा त्रुटिपूर्ण जानकारी के आधार पर पोर्टल पर

वरीयता / पात्रता प्राप्त की गयी है तो ऐसी स्थिति में संबंधित लोक सेवक के विरुद्ध सिविल सेवा आचरण नियमों के तहत अनुशासनात्मक कार्यवाही की जाएगी एवं उनका स्थानांतरण आदेश निरस्त किया जायेगा।

1.11 भारमुक्ति हेतु स्थानान्तरण आदेश में उल्लेखित समय सीमा में यदि संकुल प्राचार्य/कार्यालय प्रमुख द्वारा किसी लोकसेवक को भारमुक्त नहीं किया जाता है तो सम्बंधित संकुल प्राचार्य/कार्यालय प्रमुख के विरुद्ध सिविल सेवा आचरण नियमों के तहत अनुशासनात्मक कार्यवाही की जाएगी।

1.12 स्वैच्छिक स्थानांतरण होने के पश्चात् आगामी 03 शैक्षणिक सत्र तक विशेष परिस्थितियों को छोड़कर ऐसे शिक्षकों के स्वैच्छिक स्थानांतरण आवेदन पर विचार नहीं किया जाएगा।

1.13 शिक्षकों के प्रशासनिक स्थानांतरण उनके संवर्ग के अंतर्गत ही किए जाएंगे। संवर्ग से बाहर अन्य जिले अथवा संभाग में स्थानान्तरण मात्र स्वैच्छिक आधार पर होगें, ऐसी स्थिति में संबंधित आवेदक शिक्षक की वरिष्ठता नवीन पदस्थापना वाले जिले/संभाग में उनके संवर्ग में निम्नतम स्थान पर मान्य होगी।

2. अतिशेष शिक्षकों का चिन्हांकन एवं स्थानांतरण

2.1 उपयुक्त कंडिका 10, 11 एवं 12 में वर्णित मापदंडों के आधार पर विभिन्न शैक्षणिक संस्थाओं में संख्या व विषयमान से, जैसी भी स्थिति हो, अतिशेष शिक्षकों का चिन्हांकन किया जाएगा। संस्था विशेष में कार्यरत अतिशेष शिक्षक एजुकेशन पोर्टल पर प्रदर्शित होंगे।

2.2 संख्या अथवा विषयमान से, जैसे भी स्थिति हो, अतिशेष शिक्षकों का चिन्हांकन, पदस्थ संस्था में उनकी कार्यरत सेवा अवधि के आधार पर वरिष्ठता क्रम में किया जायेगा। तात्पर्य यह है कि जो शिक्षक वर्तमान पदस्थापना वाली संस्था में सबसे ज्यादा समय से कार्यरत है वे अतिशेष की श्रेणी में चिन्हित होंगे।

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